Report By: Kiran Prakash Singh
सोने-चांदी की कीमतों में बदलाव का दौर जारी है। सोमवार को दोनों कीमती धातुओं के भाव में तेजी थी। मंगलवार को सोने की कीमत 0.19 फीसदी की बढ़त के साथ 97,961 रुपए प्रति 10 ग्राम पर है। चांदी में थोड़ी राहत मिली है हालांकि ये अभी भी एक लाख के पार है।
इस समय चांदी 0.48 फीसदी की गिरावट के साथ 1,12,399 रुपए प्रति किग्रा पर कारोबार कर रही है। अमेरिकी शुल्क धमकियों को लेकर अनिश्चितताओं के बीच डॉलर की कमजोरी के बाद निवेशकों के सुरक्षित निवेश विकल्पों की ओर रुख करने से सोमवार को राष्ट्रीय राजधानी के सर्राफा बाजार में चांदी की कीमतें 5,000 रुपए के जोरदार उछाल के साथ 1,15,000 रुपए प्रति किलोग्राम के नए शिखर पर पहुंच गईं।
अखिल भारतीय सर्राफा संघ ने यह जानकारी दी। शनिवार को चांदी 4,500 रुपए बढ़कर 1,10,000 रुपए प्रति किलोग्राम (सभी करों सहित) के सर्वकालिक उच्चस्तर पर पहुंची थी। संघ के अनुसार, 99.9 प्रतिशत और 99.5 प्रतिशत शुद्धता वाला सोना 200-200 रुपए बढ़कर क्रमशः 99,570 रुपए और 99,000 रुपए प्रति 10 ग्राम (सभी करों सहित) पर पहुंच गया।
बाजार के जानकारों का कहना है कि बढ़ती शुल्क संबंधी अनिश्चितता, रूस-यूक्रेन युद्ध के बढ़ने की संभावना और ईटीएफ निवेशकों व केंद्रीय बैंकों की विविधीकरण की बढ़ती मांग के कारण सोने में फिर से तेजी आई है और कीमतें अपने सर्वकालिक उच्चस्तर की ओर बढ़ने के लिए तैयार हैं।
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चांदी ने सोने को पीछे छोड़ा
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भारत में जून-जुलाई 2025 के दौरान चांदी की कीमत 14 वर्षों के उच्च स्तर पर पहुँच कर ₹1.15 लाख/किग्रा तक पहुंच गई थी
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इसके विपरीत, सोना “सिर्फ” ~5–27% यील्ड दर्ज कर रहा है ।
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उद्योग और निवेश दोनों की डिमांड बढ़ी
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सोलर, इलेक्ट्रॉनिक्स और EV सेक्टर की चांदी की ज़रूरत जब उत्पादन से आगे निकल गई, तो कीमतों में उछाल आया ।
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वहीं, निवेशकों ने चांदी जैसे “सस्ते सोने” में ज़ोरदार रुचि दिखाई: ETF में ₹39 बिलियन का इन्फ्लो—सोने से भी अधिक
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भारी वैश्विक कारणों ने बढ़ाई कीमतें
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अमेरिकी वेतन-शुल्क धमकियाँ और ट्रेड टेंशन ने डॉलर को कमजोर किया—”safe-haven” धातुओं का रुझान बढ़ाया
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साथ ही रूस-यूक्रेन, मध्य-पूर्व के तनाव और रेगुलेटर/ETF/केन्द्रीय बैंकों की खरीद ने सोने व चांदी को समर्थन दिया ।
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चांदी के रिकॉर्ड और निवेशक रुख में बदलाव
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चांदी ₹1.10–1.15 लाख प्रति किलोग्राम तक पहुंचने के बावजूद लोग बेचने की जगह खरीद रहे हैं—यह पारंपरिक धारणा को उलट रहा है
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इसके अलावा, जुलाई में ₹1.15 लाख/किग्रा की खटिया पार, निवेशकों ने रिकॉर्ड उच्च-स्तर देखा
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सोने की मौजूदा स्थिति